(बैतूल) एक्सपर्ट का कहना है नियमानुसार तो डेव्हलपर्स पर दर्ज होना चाहिए 420 का प्रकरण..?,

- श्रीराम रेसीडेंसी के डेल्हलपर्स ने जवाब किया दाखिल, परीक्षण के बाद होगी एफआईआर..!

बैतूल(ईएमएस)/नवल-वर्मा । अवैध कालोनाईजिंग का सबसे बड़ा सिम्बाल बन चुकी श्रीराम रेसीडेंसी को लेकर नया अपडेट यह सामने आ रहा है कि एसडीएम कार्यालय से जो शो-काज़ नोटिस दिया था उसका जवाब 17 जनवरी को एसडीएम कार्यालय में दाखिल कर दिया है। अब एसडीएम उनके द्वारा दिए गए जवाब का परीक्षण करवा रहे हैं। वहीं जो श्रीराम रेसीडेंसी की स्थिति को जानते और समझते हैं उनका तो खुले शब्दों में कहना है कि प्रथम दृष्टया उक्त कालोनी के मामले में अपराधिक प्रकरण दर्ज होना चाहिए। क्योंकि कालोनाईजर और डेव्हलपर्स ने वहां पर प्लॉट बेचते समय लोगों को यह नहीं बताया था कि वह कालोनी अवैध है और उनके पास नगरपालिका की विकास अनुमति और रेरा का पंजीयन नहीं है। यह खुली धोखाधड़ी की श्रेणी में आता है। एक अधिवक्ता का कहना है कि इस मामले में सीधे तौर पर धारा 420 के तहत अपराधिक प्रकरण दर्ज होना चाहिए। अब सबकी नजर इस बात पर है कि एफआईआर कब होती है?

- इन सवालों के जवाब दर्ज करवा सकता है एफआईआर...
1 - क्या कारण है कि नगरपालिका बैतूल श्रीराम रेसीडेंसी में आवास बनाने वालों के नक्शे स्वीकृत नहीं कर रही है?
2 - क्या कारण है कि मप्र विद्युत मंडल श्रीराम रेसीडेंसी में बने हुए आवास में अभी तक स्थाई कनेक्शन नहीं दे रही है?
3 - क्या कारण है कि श्रीराम रेसीडेंसी में आवास बनाने के लिए कोई भी बैंक हाउसिंग लोन देने को तैयार नहीं है?
4 - क्या कारण है कि कालोनी में टीएनसीपी की शर्तों के अनुसार सामुदायिक सुविधा के लिए कोई जमीन ही नहीं नजर आती है?
5 - क्या कारण है कि श्रीराम रेसीडेंसी के प्रमोटर ने नगरपालिका के नोटिस में कोई दस्तावेज उपलब्ध नहीं कराए?

- सीधा दखल ...
... - मेरे किरदार को आप जितना चाहे आजमा लो, पर उसके बाद की कहानी फिर हम लिखेंगे -...
"जब ओखली में सिर दे ही दिया तो मूसल से क्या डरना।" यह सच्चाई बचपन से हमारे पूर्वज समझाते आ रहे हैं और इसलिए अगर अवैध कालोनाईजिंग के खुलासे को लेकर बीड़ा उठाया तो हमें पता था कि आज नहीं तो कल बौखलाए और डरे हुए, कमजोर लोग हमें भी निशाने पर लेंगे, कुछ न कुछ घटिया षडय़ंत्र रचेंगे, लेकिन इससे उनके पाप उजागर करने का काम बंद नहीं होगा। क्योंकि हमारा मकसद जनसरोकार है। जिन लोगों ने अवैध कालोनियों में प्लॉट खरीदे है और अब छोटी-छोटी सुविधाओं से वंचित हो रहे हैं उनकी आवाज को सबके सामने लाना हमारा एकमात्र उद्देश्य है। दो व्यक्तियों के मध्य होने वाली हास्-परिहास की बातचीत हो या कुछ और हो इससे हमारे इरादे पर कोई फर्क नहीं पड़ता। क्योंकि सब जानते हैं कि हम काजल की कोठरी में बैठे हैं दाग तो लगेगा ही! और लोग तो यह भी कह रहे हैं कि यह दाग भी अच्छा है, पर जो दाग लगाने का षडय़ंत्र रच रहे हैं वे भी जरा अपने गिरेबान में झांक लें कि उनका तो पूरा चरित्र ही किस कदर दागदार है। इसलिए सावधान रहें और समझदारी का परिचय दें? अभी तो शुरूआत ही है कहानी में तो अभी और ट्विस्ट बाकी है। रास्ते सभी खुले हुए हैं और दस्तावेज भी अभी शेष हैं...
नवल-वर्मा-हेडलाईन-बैतूल 20 जनवरी 2022