(बैतूल) कोठीबाजार की वीवीआईपी सड़क घटिया इंजीनियरिंग का बढिय़ा नमूना,
- तीन माह पहले किया 25 लाख का रिनीवल कोट, उधड़ रहा है कच्ची तुरपाई की तरह 
बैतूल(हेडलाईन)/नवल-वर्मा । शहर में डामर सड़कों की  हालत यह है कि इस पर पेंचवर्क में रिनीवल कोट ठीक बारिश के पहले किया जाता है और जैसे ही बारिश आती है तो सड़क फिर कच्ची तुरपाई की तरह उधडऩे लगती है। ऐसा ही कुछ शहर के कोठीबाजार में बस स्टेण्ड से लेकर थाना चौक तक वाली वीवीआईपी सड़क का मामला है। करीब तीन माह पहले इस सड़क पर 25 लाख रूपये खर्च कर एक किलोमीटर में रिनीवल कोट किया गया। अब पिछले एक महीने में  सड़क फिर जगह-जगह टूटने लगी। सबसे ज्यादा खराब स्थिति  मरोठी ज्वेलर्स के सामने मस्जिद की तरफ वाली टर्निंग पर है। यह सड़क हर बार यहीं से टूटना शुरू होती है और धीरे-धीरे थाने चौक तक जगह-जगह बड़े-बड़े गढ्डे हो जाते हेै। इस सड़क से होकर तमाम वीआईपी आते-जाते हेैं, लेकिन इसके बावजूद यह सड़क को स्थाई रूप से मजबूत बनाने में कभी कोशिश नहीं की गई। हर बार लाखों रूपये खर्च कर केवल पेंचवर्क और मेंटनेंस किया जाता है।

- ड्रेनेज सिस्टम न होने से हर बारिश में सड़क की तबाही होती है शुरू...
बस स्टेण्ड से लेकर थाना चौक पर सड़क के किनारे कोई ड्रेनेज सिस्टम ही नहीं है। सड़क को हर वर्ष लाखों रूपये खर्च कर सुधारा जाता है, लेकिन जैसे ही बारिश शुरू होती है तो सड़क की तबाही शुरू हो जाती है। चूंकि डामर की सड़क पानी को बर्दाश्त नहीं करती है, इसलिए इस सड़क की बारिश में दुर्गति हो जाती है। डामर सड़क के साथ यह जरूरी होता है कि उसके बगल से ड्रेनेज का सिस्टम हो जिससे कि सड़क पर पानी न ठहरे पर इस सड़क में ऐसी कोई गुंजाईश ही नहीं है।
सड़क फ्लेट बना देते है, पानी की निकासी के लिए उसमें ढलान तक नहीं देते
डामर सड़क की जो डिजाईन होती है उसमें यह ध्यान रखा जाता है कि उस पर पानी  नहीं ठहरे। यदि पानी गिरता भी है तो वह बहकर निकल जाए। इसलिए डामर सड़क दोनों तरफ से ढलान वाली बनाई जाती है, लेकिन इस सड़क में इस व्यवस्था को देखा ही नहीं गया। यह सड़क फ्लेट बना दी गई है और इसलिए इसमें पानी ठहरता है जिससे यह उखडऩे लगती है। जैसे ही मस्जिद चौक वाली टर्निंग पर आओ तो वहां तेज बहाव होता है जिसकी वजह से सबसे ज्यादा सड़क वहां टूटतीहै।
नवल-वर्मा-हेडलाईन-बैतूल 22 जुलाई 2022