(बैतूल) जिला कांग्रेस के व्हाट्सअप ग्रुप पर हेमंत पगारिया को हटाए जाने को लेकर आक्रोश,

- बड़ा सवाल : 500 पदाधिकारियों की जंबो जेट जिला कांग्रेस में क्या अकेला बाबू ही निष्क्रिय..?

बैतूल (हेडलाईन)/नवल-वर्मा । काफी लंबे समय से जिला कांग्रेस में प्रवक्ता की भूमिका बखूबी निभाते आ रहे हेमंत पगारिया उर्फ बाबू को जिस तरीके से पद विहीन किया गया उसको लेकर कांग्रेस के अंदर बवाल चल रहा है। इस बवाल का खुलासा जिला कांग्रेस के व्हाटसअप ग्रुप में आने वाली प्रतिक्रियाओं से भी सामने आ जाती है। कांग्रेसियों का मानना है कि बाबू किसी षडय़ंत्र का शिकार हो गए हैं। वहीं दबी जुबान में यह भी चर्चा है कि लोकसभा चुनाव के समय बाबू को जो विड्राल पावर मिला था उसमें मनमानी करने का मौका नहीं दिया। इसलिए उस बात की खुन्नस इस तरह से निकाली जा रही है। जिस तरह से बाबू को पदविहीन किया गया उसको लेकर सीधे तौर पर जिला कांग्रेस अध्यक्ष की भूमिका पर भी सवाल उठ रही है। वहीं जो कांग्रेस के प्रति निष्ठावान है और ईमानदार है उनको बाबू को इस तरह पद विहीन किया जाना कचोट रहा है। उनका कहना हेै कि क्या पेड वर्करों के भरोसे ही बैतूल में कांग्रेस चलेगी। ईमानदार कांग्रेसियों को ऐसे ही साजिश के तहत हटवाया जाएगा।

- व्हाट्सअप प्रतिक्रिया : 01...
यार बाबू तुम्हारे आत्मसम्मान की जल्द ही ससम्मान वापसी होगी
यार बाबू बहुत गहराई से सोचा! और मन इस नतीजे पर पहुंचा। निष्क्रिय तो नहीं वरन् 24 घंटे के तुम कांग्रेस मित्र हो जहां तुम्हे पुरस्कार मिलना था वहां तुम्हे साजिश मिली। कोई बात नहीं कहीं अति होती है तो अंत भी होता । मन कह रहा है कि तुम्हारे आत्मसम्मान की जल्द सम्मान वापसी होगी और साजिशों का जल्द पर्दाफाश भी होगा और साजिश रचने वालों का अंजाम भी हम सब यही देंखगे? और आखरी में यही कि हम सबके दिलों में तुम्हारा कद हर पद से बड़ा है।

- व्हाट्सअप प्रतिक्रिया : 02...
बैतूल में अब कांग्रेस पार्टी का संगठन नहीं व्यक्ति का संगठन हो गया
कांग्रेस संगठन का पीढिय़ों से समर्थित कांग्रेस परिवार के सक्रिय सदस्य को निष्क्रिय का आरोप लगवाकर पद मुक्त करवाना पार्टी के भविष्य के अच्छे संकेत नहीं है। बेहतर होता कि निकाय चुनाव में पार्टी गतिविधियों में लिप्त लोगों (अब यह मत कहना कि शिकायत करें क्योंकि हमें पता नहीं कि कौन-कौन पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल है। आपके नॉलेज के लिए दो-तीन तो जिला कांग्रेस अध्यक्ष के खुद के ही दाएं-बाएं पदाधिकारी है जो कांग्रेस विरोधी गतिविधियों में शामिल है। जिन्होंने जिला कांग्रेस प्रमुख के केंडीडेट जो टिकिट की लड़ाई में हारे उन्हें निर्दलीय प्रत्याशी बना चुनाव लड़ाया गया जिसके प्रचार करते वीडियो उपलब्ध है।) को पार्टी से निष्कासित करने के लिए कमलनाथ जी से मुलाकात करते तो संगठन के भीतर एक सकारात्मक सोच पैदा होती। 

- सवाल यह भी उठ रहा
कांग्रेस खेमे के माने जाने वाले चार जिला पंचायत सदस्यों का नामांकन बाबू ने भरा फिर निष्क्रिय कैसे...
बाबू की सक्रियता बताने के लिए यह जानकारी भी सामने आ रही है कि वर्तमान में जिन जिला पंचायत सदस्यों को कांग्रेस खेमे का माना जा रहा है उनका नामांकन तक बाबू ने भरे हैं। बाबू लोकसभा और विधानसभा चुनाव में 7 बार प्रत्याशी के चुनाव अभिकर्ता रहे हैं। वहीं सोशल मीडिया पर कांग्रेस के लिए अलख जागते है।
नवल-वर्मा-हेडलाईन-बैतूल 23 जुलाई 2022