कैंसर विरूद्ध वोट अभियान समिति द्वारा 75 कदम 75 दिन की शुरुआत 

बैतूल(हेडलाइन)/नवल वर्मा । वोट विरूद्ध कैंसर मुहिम ने अब जोर पकड़ लिया है। अब तक नोटा से कोई सरोकार नहीं रखने वाली जनता भी समझ गई है कि नोटा की बटन  मतलब मानवता की बटन है। बुधवार को यह अभियान कोठी बाजार में चलाया गया। कोठीबाजार के स्वतंत्रता संग्राम सेनानी परिवारों में चंदू भावसार, राजेंद्र लवहाते, अजय मिश्रा, अतुल गोठी, प्रकाश चंद तातेड, विनय धर्माधिकारी को नोटा की बटन दबाने के लिए निवेदन पत्र सौंपा गया। अभियान में सुभाष गोठी, बबलू दुबे, रमेश भाटिया, राजू जोशी, अनिल दुबे, श्रीमती नीलम दुबे, दीपक आंबेकर, पिंकी भाटिया, जगदीश लोखंडे उपस्थित रहे। अभियान के दौरान वोट के माध्यम से कैंसर को जड़ से खत्म करने की जानकारी दी जा रही है। नागरिकों को बताया जा रहा है कि नोटा की बटन मतलब मानवता की बटन,राजनैतिक व्यक्तिगत लड़ाई से दूर कैंसर की लड़ाई में साथ मांगा जा रहा है।अभियान के सूत्रधार बबलू दुबे कहा पक्ष और विपक्ष विकास की मुफ्त की बाते न गिनाएं, अपनी व्यक्तिगत पूजा पाठ गुणगान बंद करें, कैंसर जनित नीतियों से कमाए राजस्व से विकास और सेवा के काम न गिनाए,।निरंतर आगे भी सुलगते सवालों जवाब दे, क्योंकि लोकतंत्र में जबावदेही भी कुछ हैं। 
-- अभियान में इन मुद्दों को किया शामिल --
क्या लाड़ली बहन को बच्चे दानी के कैंसर को रोकने के लिए 250 रूपये का टीका नहीं लगवाया जा सकता था ?
क्या स्कूलों की खाली पड़ी जमीन के कुछ हिस्से पर बच्चों के माध्यम से जैविक उत्पादित फल सब्जी नहीं लगाई जा सकती हैं?
क्या स्कूलों मे जैविक खेती के विषय को पढ़ाना नहीं शुरू किया जा सकता हैं?
हमारे नगर के ख्याति लब्ध स्कूल, उत्कृष्ट विद्यालय में पुराने समय मे कृषि विषय पढ़ाया जाता था, क्यों  बंद कर दिया गया। किसी ने अपने जन प्रतिनिधियों से  पूछा? क्या।वहां विद्यार्थी कृषि की बारीकियों को नहीं सिखता?
कृषि महाविद्यालय दूर की बात है उत्कृष्ट विद्यालय स्कूल में पढ़ाए जा रहे कृषि विषय की पढ़ाई देखते देखते बंद हो गई, वह नहीं शुरू करवा पाए तो कृषि महा विद्यालय खाक खोला जायेगा?
क्या कभी आपने सोचा कीटनाशक दवाओं को बनाने वाली कंपनियों के साथ मिलकर कृषि  विभाग  कृषि मेले आयोजित करता है क्यों?
पुराने समय में जेल परिसर मे उत्पादित ताजे फल और  सब्जियां जेल के बाहर दुकान लगाकर बेची जाती थी ?  खेती क्यों बंद हो गई?
क्या कालोनी बनाने वालो को जैविक फल और सब्जियों के लिए निर्धारित स्थान रिजर्व करने के लिए  रैरा में कानून नही बनाया जा सकता हैं?
क्या सरकारी बंगलों में सैकड़ो एकड़ भूमि पर जैविक से फल और सब्जियां नहीं उत्पादित करवाई जा सकती है? कलेक्टर, एसपी बंगला उदाहरण हैं। क्या आम जनता को बताया जा सकता हैं कि संसद और विधानसभाओं की कैंटीन में उपयोग में लाई जा रही सब्जियां और फल किस सब्जी मंडी से खरीद कर लाई  जाती है?
नवल वर्मा हेडलाइन बैतूल 04 अक्टूबर 2023