रायपुर। राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआइटी) रायपुर के शोधार्थी ने ऐसा कंप्यूटर विजन सेंसर माडल तैयार किया है, जिससे वाहन बिना चालक के सुरक्षित चल सकेगा।शोधार्थी दीपक कुमार देवांगन ने बताया कि कंप्यूटर विज़न तकनीकों के साथ कंवोल्यूशन न्यूरल नेटवर्क को डिजाइन और विकसित किया गया है। यह वाहन संचालन के दौरान सड़क और लेन मार्किंग, स्पीड ब्रेकर और सड़क के गड्ढों को पहचानेगा और फिर ड्राइविंग का उचित निर्णय लेना है।

इस माडल का मुख्य आकर्षण यह है कि यह केवल एक ही विज़न कैमरा का उपयोग करता है, जिसका खर्च हजारों में आएगा। जबकि सेल्फ ड्राइविंग कार बनाने वाली कंपनियां जैसे की टेस्ला और गूगल लिडार व रडार का उपयोग करते हैं। यह दो तकनीक वाहन संचालन के दौरान सड़क की स्थिति गड्ढों आदि का पता लगाते हैं और गाड़ी संचालन के दौरान संदेश देते है। जिसका 15 लाख रुपये तक या उससे अधिक आता है।आने वाले समय में बिना ड्राइव के संचालित वाहन के लिए यह तकनीक कम खर्च और बेहद कारगर साबित होगा।

शोधार्थी दीपक ने बताया कि उनका माडल कंप्यूटर विज़न और डीप-लर्निंग एल्गोरिदम पर काम करता है। सुरक्षित वाहन संचालन, सड़क दुर्घटना रोकने सहायक होगा।शोधार्थी दीपक ने बताया कि अप्रत्याशित यातायात स्थितियों के कारण भारत में अब तक पूरी तरह से चालक रहित कार को लांच नहीं किया गया है। इसलिए, विभिन्न स्मार्ट शहरों में ऐसे वाहन के विकास और अनुसंधान की संभावना बहुत महत्वपूर्ण लगती है। जो कैमरा-आधारित तकनीक का उपयोग करके न केवल कम खर्चीले है,बल्कि सड़क दुर्घटना को कम करने में भी मदद कर सकते है।